कर्नाटक में बीजेपी सरकार बनाने में सफल रही। हर तरह के जोड़-तोड़ की राजनीति के बाद जो आंकड़े सामने आए उससे जेडीएस कांग्रेस गठबंधन अपना बहुमत साबित करने में नाकामयाब रहा। इस बीच बसपा सुप्रीमो मायावती ने कुमारस्वामी के पक्ष में वोट न करने की वजह से बसपा के एकमात्र विधायक एन महेश को पार्टी से निकल दिया।

मायावती ने सरकार गिरने के बाद सोशल मीडिया पर लिखा- कर्नाटक में कुमारस्वामी सरकार के समर्थन में वोट देने के पार्टी हाईकमान के निर्देश का उल्लंघन करके बीएसपी विधायक एन महेश आज विश्वास मत में अनुपस्थित रहे जो अनुशासनहीनता है जिसे पार्टी ने अति गंभीरता से लिया है और इसलिए श्री महेश को तत्काल प्रभाव से पार्टी से निष्कासित कर दिया गया।

इसके बाद मायावती ने जेडीएस और कांग्रेस की सरकार गिरने को लोकतंत्र के इतिहास में काला अध्याय बताया। उन्होंने लिखा- कर्नाटक में बीजेपी ने संवैधानिक मर्यादाओं को ताक़ पर रखने के साथ साथ जिस प्रकार से सत्ता व धनबल का इस्तेमाल करके विपक्ष की सरकार को गिराने का काम किया है वह भी लोकतंत्र के इतिहास में काले अध्याय के रूप में दर्ज रहेगा। इसकी जितनी भी निन्दा की जाए वह कम है।

बता दें कि विश्वास प्रस्ताव पर चार दिनों की बहस के बाद कनार्टक में एचडी कुमारस्वामी की सरकार गिर गई है। विधानसभा में मंगलवार को मुख्यमंत्री कुमारस्वामी के नेतृत्व में कांग्रेस व जनता दल सेक्युलर (जद-एस) की गठबंधन सरकार विश्वास मत हासिल नहीं कर सकी।

225 सदस्यीय कनार्टक विधानसभा में विश्वास मत के लिए 20 विधायक सदन में उपस्थित नहीं हुए थे। विधानसभा अध्यक्ष के। आर। रमेश कुमार ने विश्वास मत के बाद सदन के सदस्यों को बताया कि मुख्यमंत्री एच। डी। कुमार स्वामी विश्वास मत हासिल नहीं कर सके।

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