प्रधानमंत्री मोदी ने बेटी बचाओ का नारा दिया था लेकिन अब वही नारा मोदी सरकार के लिए परेशानी का सबब बन गया है। क्योंकि एकतरफ बेटियाँ हैं दूसरी तरफ उनके विधायक, मंत्री और नेता हैं।

पूरी मोदी सरकार पर बेटी नहीं भाजपा नेता बचाने के आरोप लग रहे हैं। आप विधायक अलका लांबा भी लगातार सवाल कर रही हैं।

अलका ने ट्वीट करते हुए लिखा कि, 2014 में मोदी जी  ने नारा था दिया था “बेटी बचाओ” 2019 आते आते जनता ने खुद इस नारे को बदला डाला और अपने घरों के दरवाजों पर लिख डाला “BJP नेताओं से बेटियां बचाओ”, BJP नेताओं पर लगाई बेटियों की गलियों में जाने रोक। मित्रों भाजपा के लिये यह गर्व की बात है या फिर शर्म से डूब मरने की?

देश के प्रधानमंत्री मोदी जी और अमित शाह के मुताबिक आज देश में जो कुछ भी हो रहा है (दलित आंदोलन, हिंसा -दंगें ) ,या फिर जो नहीं हो रहा (संसद ना चलने से काम ) उन सब के पीछे विपक्ष है, यहां तक तो ठीक है,बस अब यह मत कह देना की #Unnao #Kathua #Surat गैंगरेप के पीछे भी विपक्ष है।

आपको बता दें कि, उन्नाव से लेकर कठुआ तक भाजपा बैकफुट पर नजर आ रही है। विधायक बचा रही है लेकिन बेटियों के सड़कों पर उतर आने से परेशानी में पड़ गई है।

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